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________________ १२३४ ] ग्रंथ नाम जैन-तक लेखक हिन् जनशतक- भूवरदास १०४२, १०६०, १०७१, १०३३, १०७४, १०५२ १०८१, १११४, ११३३, ११५३ हि ६८५ जैनक दोहा जैन धात्रक आम्नाय - समताराम हि० १०० जैन सदाचार मार्तण्ड नामक पत्र का उत्तर जैन संख्या जैतेश्व व्याकरण - देवमन्दि जोगीरासा जोगसरास जोगीरासा - जिनवास ८७७ ५१, १०११, भूलना भूलना -तानुसाह दंडारणा योत दंडारणा गीत मांग सुत झ भाषा पत्र संख्या ग्रंथ नाम हि १०४७ १०५.७ जोग विचार हिο जोरा की विभि कुमार गोव हि जंबू स्वामी चौपाईप जिनवास हि० जंबुक नामो हिο 24 ठ 10 हिन् सं० सं० हे० ७४, १०२७, ११०३ fa १०८ १००१ ५१३ ९६० हि० 15° हि० २०१३, १०५६ १०५, १११० सं ० ५.४६ 91 ЯТО ६८५ ६३४ ५७७ ११११ স্থি· १०११ हिο ११०६ वासी गाथा सी ढाडसी माथा लेखक - ११५८ साधकुमार | १००३ होला मारणी चौपाई ढोलामारु की बात ढोलामारी री बात उसी गाथा ठाउसो गाथा दादसी गाथा भाषा ढाल गणसार ढालसागर गुणसागरसूरि हालसंग्रह - जम्मल डिया मत उपदेश दो मार चोपई-कुशललाभ ४१ । [ प्रस्यानुक्रम शिक्षा भाषा पत्र संख्या द मोरपीसी मतिसागर मीकार महिमा ११४३ १००१ रामोकार मंत्र महात्म्य कथा भीकार महात्म्य णमोकार लेभियर दामोदर STTO Ятс प्रा० हि० प्रा० fa हिन् हिन हि fre हि राज० हि० fro सं० सं० हि० सं० हिο अप० चरित - गुष्पदन्त अपभ्रंश तकाराक्षर स्तोत्र सं० तत्वकौस्तुभ – पंपालाल पांडया हि तरबज्ञान वरगिडी-म० जानभूषण तत्वदीपिका सं० हि. ४१ ११८२ १६४ ११०२ ११११ १०३५ ६६० ६६० १११ १०२६. १०३२ १०२० १०३३ १०६५ १०५२ ४४१ ११५३ ६- १ ३३२ ३३२ ३० ४१ Ye १११ ५.१३
SR No.090396
Book TitleRajasthan ke Jain Shastra Bhandaronki Granth Soochi Part 5
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKasturchand Kasliwal, Anupchand
PublisherPrabandh Karini Committee Jaipur
Publication Year
Total Pages1446
LanguageHindi
ClassificationCatalogue, Literature, Biography, & Catalogue
File Size30 MB
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