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________________ पंचाङ्ग [ प्रन्थानुक्रमणिका लेखक भाषा पृष्ट सं० ग्रन्थनाम लेखक भाषा पृष्ठ सं० मन्थनाम पंचसंग्रह श्रा नेमिचन्द (प्रा०) ३८ | पक्षीशास्त्र - (सं०) ६७४ पंचसंग्रहटीका अमितगति (सं.) ३६ पट्टीपहाड़ोंकी पुस्तक (हि०) ३६८ पंचसंग्रहटीका (सं०) ४० पट्टरीति विष्णुभट्ट सं०) १३६ पत्रसंग्रहवृत्ति अभयचन्द (ii) ३६ पट्टावलि - (सं.२) ३७३, ७६६ पंचसंधि (सं०) २६१ परिकम्मगासूत्र - प्र०) ६१६ यस्तोत्र (सं.) ५७८ पणकरहाजयमाल (अप०) ६३६ पंचस्तांत्रीका पत्रपरीक्षा पात्रकेशरी पंच्चस्तीत्रसंग्रह पत्रपरीक्षा विद्यानन्द (म.) १३६ पंचान्यान विष्णुशर्मा पथ्यापथ्यविचार चण्डू अविराम । हि.) ५८५ पंचांग प्रबोध (म०) २५५ पद अक्षयराम (हि.) ५८५ चाङ्गमाधन गणेश [ सयपुत्र] - अजयराज (हि.) ५८१ पंचाधिकार -- (सं०) ३७३,५१६ ६६७, ७२४, ५८० पंचाध्यायी - हि०) ७५६ अनन्तकीर्ति (हि.) ५०५ पंशसिका विभुवनचन्द (हि.) ६७३ अमृतचन्द्र (हि.) ५८६, पंचास्तिकाय कुन्दकुन्दाचार्य (प्रा०) ४० उदयराम हि०) ७८६, ७६८ पंचास्तिकामटीका अमृत चन्द्रसूरि (म.) ४१ कनकीको ति हि०) ५६१ पंचास्तिकायभाषा बुधजन (हि.) ४१ ६६४, ७०२, ७२४, ७७४ पंचास्तिकायभाषा पं० हीरानन्द (दि) ४१ ७० कपूरचन्द्र (हि.) ५७० पंचास्तिकायभाषा पांडे हेमराज (हि.) ४१ | ६१५, ६२४ पंचास्तिकायभाषा - (हि.) ७१६. ७२० । कबीर (हि.) ७७७, ७६३ , पंचेन्द्रियवलि छीहत कर्मचन्द हि०) ५८७ पंचेन्द्रिवलि ठक्कुरसी हि.) ७.३ किशनगुलाब (हि.) ६६४, ७६३ किशनदास रहि०) ६४६ पंचेन्द्रियरास - (हि.) ६६३ | पद किशनसिंह दि०) ५६०, ७०४ पंडितमरगा - (सं.) ६०४ पद कुमुदचन्द्र (हि०) ७५७, ६५० पंथीगीत छीइल (हि०) ८३८, ७६५ | पद केशरगुलाब (हि०) ४४५ पंद्रहतिथी खुशालचन्द (हि.) ५८२ पक्की स्याही बनाने की विधि ६२४, ६६४, ६६४, ६६८, ७०३, ७८३, ७६८
SR No.090395
Book TitleRajasthan ke Jain Shastra Bhandaronki Granth Soochi Part 4
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKasturchand Kasliwal, Anupchand
PublisherPrabandh Karini Committee Jaipur
Publication Year
Total Pages1007
LanguageHindi
ClassificationCatalogue, Literature, Biography, & Catalogue
File Size19 MB
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