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________________ चौतोस स्थान दर्शन कोष्टक नं०७८ पद्म लेश्या में - -- । ----- १ संयम १ सयम १६ मयम ५ को नं. १७ देखो १४ दर्गत ३ को० नं. ७ देन्यो १५ लेश्या १ दर्शन १ दर्शन --- - - - - तीनों गलियों में हरेक में | पद्य नेत्या जानना १ अवस्था । २ ! १६ भव्यत्य को० नं. ७ देखो। १७ समाव : को देखो: अवस्था १ सम्यक्त्व | कोनं ७ के समान | जानना निर्वच व मनु य गति में । कोल मं. ७७ के ममान | जानना देवनति में 1.5-3-3 के भंग-कोर । #. १६ देवो १८ मंत्री को नं०७ देखो १ भंग १ अवस्था १ अवस्था १ अवस्था १ भंग १ उपयोग १ उपयोग का० नं.७७ देखो २० उपयोग को० नंदेखा १ घ्यान १० । को० नं. ७ देवो । २२ ग्रावय । कोल नं७७ देखो। १ भंग भयान १ ध्यान सारे भग १ भंग मारे भंग सारे भंग । १ भंग को 33 के समान जानना परन्त निर्यच पनि म व मनुस्य गति में को० नं.७३के ममान को० .५७ के समान जानना
SR No.090115
Book TitleChautis Sthan Darshan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAadisagarmuni
PublisherUlfatrayji Jain Haryana
Publication Year1968
Total Pages874
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Pilgrimage, & Karm
File Size16 MB
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