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श्री॥ गौतम पृच्छा धर्म अधर्म का फल
( जैन पत्र से उद्धृत )
अनुवादक
मुंनी श्री यतीन्द्रविजय जी
प्रकाशक
सेठ सरूपचन्द हुकमाजी
जासेलगढ़वाले
कन्नूजी माठूमल एण्ड संज़ के आर्ट (एलेक्ट्रिक) प्रिंटिंग वर्क्स देहली
बाबू धनपत सिंह भनसाली के प्रवन्ध से मुद्रित । द्वितीय पार ५००० ] सन १९१६ [ मूल्य भेट annnnnnnnnngo
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