________________ हस्तिकुण्डी का इतिहास-१०० असल री नकल मुहर श्री शंकर सहाय छे स्वरूप अनेक सकल अोपमा ठाकुरांराज श्री देवीसिंहजी साहब कुंवरजी श्री नरेन्द्रसिंहजी साहब राजस्थान जागीर मोजे बीजापुर प्र/बाली देव वचनायत तथा जवेरचन्दजी चन्दाजी, सा ताराचन्द कुपाजी सा हजारीमल किसनाजी चोबटीया सा संतोकचन्द रतनाजी सा भीमराज किसनाजी कार्यकरन्दा जैन श्वेताम्बर महावीरजी रो मन्दिर वो धर्मशाला जागीरी सीमा बीजापुर री हतुण्डी में हजारों बरसा रो पुराणो बरिणयोडो जो जैन श्वेताम्बर मूर्तिपूजक रे कब्जे सुद है जीणरो पटो ता. 7-2-40 ने सेठ माणकलाल चुन्नीलाल सा अहमदाबाद वालांरे नाम बीघा 7 अखरे सात रो है, यो जमीन उणरे सिवाय जमीन बीघा 6 / / अखरे साडी छ फेर नई जमीन साधारण खाते बगीचो वो धर्मशाला वो मकानात वगेरा वरणावरणा सारू दी जावे है जुमले बोघ। 13 / / अखरे साडी तेरह रो पटो सामिल कियो जावे है जो कब्जा मौका पाते पीलर लगवा दिया है जीणरा पाड़ोसी तफसील हस्बजेल है: (1) दिशा पूर्व में महादेवजी रो मन्दिर वो पंच तिरथी ___ वाला रे बीच में है। (2) दिशा उत्तर में नदी री खड है। (3) दिशा दक्षिण में पहाड़ है। (4) दिशा पश्चिम में राजपंथ मार्ग जो कुडाल जावे है।