________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www. kobetirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir रु०॥र्मातासपितासपुत्रः // विश्वेदेवाऽअदितिल्पञ्चजनाऽअदितिजा अ. 38 तमदितिर्जनित्त्वम् // 31 // दीर्घाः // दीर्घायुत्वायवलायुबच्चे - सेसुप्रजास्त्त्वायसुहसाऽअथोजीवशुरद शतम् // 32 // द्यौःशा न्तिः॥द्यौःशान्तिरन्तरिक्षठ-शान्ति पृथिवीशान्तुिरापत्शान्तुिरो / पंधयुत्शान्ति वनस्पतयुः ॥शान्तिर्विश्वेदेवाःशान्तिब्रह्मशान्तुिः / सठ-शान्तुिल्शान्तिरेश्वशान्तुिल्सामाशान्तिरेधि // 33 // इति / 3 1 शाखान्तरीयमंत्रोऽयम् / For Private And Personal Use Only