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प्रमुख व्यक्ति, झंडा या भूषण (समास के अन्त में) ध्वनः। ध्वन+अप] 1. शब्द, स्वर 2. भिनभिनाना, जैसा कि 'कूलध्वजः' (कूल का भूषण या पूज्य गुनगुनाना । व्यक्ति) में 3. वह बांस जिसमें झण्डा लहराता है, ध्वननम [ध्वन+ ल्यट] 1. ध्वनि निकालना 2. संकेत 4. चिह्न, निशान, लक्षण, प्रतीक-वृषभ, मकर । करना, सुझाव देना, या (अर्थ) लगाना 3. (सा. आदि 5. देवता की उपाधि 6. पथिकाश्रम का चिह्न । शा० में) व्यंजना शक्ति, शब्द या वाक्य की वह 7. व्ययसाय का चिह्न-व्यवसाय लक्षण 8. जननेन्द्रिय शक्ति जिसके कारण यह मख्यार्थ से भिन्न किसी ( किसी जानवर की, चाहे नर हो या मादा) । और ही अर्थ को प्रकट करे, सुझाव-शक्ति--तु० 9. कलाल 10. किसी वस्तु से पूर्व की ओर स्थित धर। 'अंजन' भी। 11. घमंड 12. पाखंड, (ध्वजीकृ झंडा लहराना, ध्वनिः [ध्वन-इ] 1. शब्द, प्रतिध्वनि, कोलाहल या आलं. बहाने के रूप में प्रयुक्त करना)। समः । शोर-मदङ्गधीर ध्वनिमन्वगच्छत्--रघु० १६.१३, -अंशुकम्-पटः,-पटम् झंडा-रघु० १२१८५, रा७२, उत्तर१६।१७ 2. लय, तान, स्वर शि० -आहृत (वि०) युद्धभूमि में पकड़े हुए,-गृहम् वह ६।४८ 3. वाद्ययंत्र की ध्वनि -रघु० ९।७१ 4. बादल कमरा जहाँ झंडे रखे जाते हैं,-ब्रुमः ताड का वृक्ष, गरज या गड़गड़ाहट 5. केवल रिक्तध्वनि 6. शब्द
प्रहरणः वायु, हवा,-यन्त्रम् झंडा खडा करने की 7. (सा० शा. में) काव्य के तीन मुख्य भेदों में से कूटयुक्ति,-पष्टिः (स्त्री०) झंडे का डंडा या वांस सर्वोत्तम काव्य जिसमें कि संदर्भ का ध्वन्यर्थ, अभिहित मनु० ९।२८५।
अर्थ की अपेक्षा अधिक चमत्कारक हो, या जहाँ ध्वजवत् (वि.) [ध्वज+मतुप+मस्य वः] 1. झंडों से | मख्यार्थ, ध्वन्यर्थ के अधीन हो - इदमत्तममतिशयिनि
सजा हुआ 2. चिह्न से युक्त 3. अपराधी के लक्षण से व्यंग्ये वाच्चादध्वनिवृधः कथितः- काव्य०१, (रसयुक्त, दागी,--- (पुं०) 1. झंडा-वाहक 2. मद्य विक्रेता, गंगाधर में ध्वनि के पाँच भेद बताये गये हैं, दे० कलाल ।
'ध्वनि के नीचे) । सम० -- ग्रहः 1. कान 2. श्रवण, ध्वजिन् (वि.) (स्त्री० --नी)[ध्वज+इनि ] 1. झण्डा- । या श्रुति 3. श्रवणेन्द्रिय,--नाला 1. एक प्रकार का
बरदार, झण्डा ले जाने वाला 2. चिह्नधारी 3. सुरा- । बिगुल 2. बांसुरी 3. मुरली, वंशी,--विकारः भय या पात्र के चिह्न वाला-मनु०११।९३, (पुं०) 1. पताका ! शोक के कारण वाणी का विकार, दे० काकू । वाहक 2. कलाल, मद्य विक्रेता-याज्ञ. १११४१ । ध्वनित (भ० . कृ.) [ध्वन- त] 1. निनादित 3. गाड़ी, शकट, रथ 4. पहाड़ 5. साँप 6. मोर 2. निहित, ध्वनित, संकेतित,--तम् 1. शब्द 2. वादल 7. घोड़ा 8. ब्राह्मण,-नी सेना --रघु० ७।४०, शि० ___ की गरज या गड़गड़ाहट-कि० ५।१२।। १२।६६, कि०१३।९।।
ध्वस्तिः (स्त्री०) [ध्वंस-क्तिन् ] नाश, बर्बादी । ध्वजीकरणम् [ध्वज-च्चि-कृ+ल्यट] 1. झंडोत्तोलन, ध्वाक्षः [ध्वंक्ष-अच ]1. कौआ--(कभी-कभी 'तिरस्कार'
झंडे को फहराना 2. दावा स्थापित करना, किसी बात प्रकट करने के लिए समास के अन्त में प्रयुक्त किया को हेतु बनाने वाला।
जाता है --उदा. टीर्थध्वांक्षः) 2. भिक्षक 3. ढीठ ध्वन (भ्वा० पर० -ध्वनति, ध्वनित) शब्द करना, ध्वनि । व्यक्ति 4. मुर्गाबी, सारस। सम० --अरातिः उल्लू,
पैदा करना, गुनगुनाना, भिनभिनाना, गूंजना, प्रति- -पुष्टः कोयल। ध्वनि करना, गरजना, दहाड़ना --विभिद्यमाना इव ध्वानः | ध्वन-घम ] 1. शब्द 2. गुनगुनाना, भिनदब्वनुदिश:--कि० १४।४६, अयं धीरं धोरं ध्वनति भिनाना, बुडबुड़ाना। नवनीलो जलघर:--भामि० १६०, कपिर्दध्वान मेघ- |
१६०, कापदध्वान मेघ- ध्वान्तम् [ध्वन्+क्त | अंधकार-ध्वान्तं नीलनिचोलचारु वत् -भट्टि० ९।५, १४।३, ध्वनति मधुपसमूहे श्रवण- सुदशां प्रजमालिङ्गति-. गीत० ११, नै० १९४४२, मयि दधाति-गीत० ५, प्रेर०-ध्वनयति, शब्द करवाना, शि० ४।६२ सम०-उन्मेषः, वित्तः जुगनू, ---शात्रवः (घंटी की भांति) बजवाना, परन्तु 'ध्वानयति' अस्पष्ट 1. सूर्य 2. चाँद 3. आग 4. श्वेतवर्ण । उच्चारण करवाना।
| ध्व (भ्वा० पर०-ध्वरति) 1. झकाना 2. हत्या करना।
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