________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir ॐ केतुंकृण्वन्ने // 9 // केतवेसां चित्रगुप्तब्रह्मरूपाधिप्रत्यधिदेव० भो के०। इमंबलिं० अने. केतुः प्री० // ततः क्रतुसाद्गुण्यदेवताभ्योबलिः ॥ॐ गणानांत्वा / // 1 // गणपतयेसां० सशक्तिकायइ० भोगण. इमंव० आयुः अनेन // ॐ अ हम्बअंबिके० ॥२॥दुर्गायैसांगां० सशक्तिका० भोदुर्गेइ० आयुः कर्वी अनेनब०। ॐ आनोनिः // 3 // कायवेसां• इमं० भोवायोइमं // ॐ घृतंघृतः // 4 // आकाशायसां भोआकाशइमं० // ॐ यावाशा०॥५॥ अश्विभ्यांसा इमंस: भोअश्विनौ० अनेनब० // ॐ वास्तोष्पते ॥१॥वास्तोष्प० सां• इमंस. भो। वास्तो० इमंबलिं० अनेनब० // ॐ नहिस्पश• // 2 // क्षेत्राधिपतयेसा• इमंस भो क्षेत्राधिपतेइमंबलिं० अथ दिक्पालेभ्यएकतंत्रेणैकमेववलिंदद्यात्॥ ॐ प्रा AAAAOROAAOOO For Private and Personal Use Only