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श्री आत्मतिलक ग्रन्थ सोसायटी पुस्तक नं.१८.
श्री मद्विजयानन्द सूरीश्वर वल्लभपादपद्मेभ्यो नमः
क्षमा ऋषि.
लेखक, श्री वल्लभविजयजी महाराजके शिष्यपं. श्रीमान् ललित विजयजी महाराज. सद्गुणानुरागी श्रीमान् कर्पूर विजयजी महाराजके
उपदेश द्वारा मिली हुई सहायतासे
प्रकाशकश्रीआत्मतिलक ग्रन्थ सोसायटी,
शा. सदुभाई तलकचंद, रतनपोल अमदाबाद.
प्रथमावृत्ति १०००. वीर नि. २४४७] [वि. सं. १९७७,
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