________________
Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra
www.kobatirth.org
Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir
५९
अली-अवकीर्ण अली-स्त्री० सखी (प्रायः संबोधन में प्रयुक्त); पाँत । * पु० बाद थोड़ा ठहरना; इसका चिह्न (,)। -संख्य,भौरा।
संख्यक-वि० कम जनसंख्यावाला (समुदाय)।-संतोषी अली (लिन्)-पु० [सं०] भ्रमर; बिच्छू ।
(पिन्)-वि० थोड़ेसे संतोष कर लेनेवाला । -सूचित अलीक-वि० [सं०] अप्रियः मिथ्या, झूट, मनगस्त; अल्प । प्रश्न-पु० (शार्ट नोटिस क्वेश्चन) संसद् या विधानसभा * स्त्री० अप्रतिष्ठा।
आदिमें पूछा जानेवाला ऐसा प्रश्न जिसके लिए सामान्यसे अलीजा*-वि० प्रचुर, बहुत-सा ।
कम सूचना दी गयी हो। अलीन-पु० दरवाजेकी चीखटका साह; बरामदे आदिका अल्पशः-अ० [सं०] थोड़-थोड़ा करके । खंभा जो दीवारसे लगा हो। वि० अलग अनुचित;अग्राह्य।। अल्पायु (स्)-वि० [सं०] जिसकी आयु थोड़ी हो, छोटी अलीपित*-वि० अलिप्त ।
उभ्रमें मरनेवाला। अलील-वि० [अ०] बीमार ।
अल्पावकाश-पु० [सं०] (रिसेस) विद्यालयों, न्यायालयों अलीह*-वि० अलीक, असत्य; अनुचित ।
या खेल आदिमें बीचमें थोड़े समयके लिए जलपान या अलक-पु० [सं०] एक समास जिसमें पूर्वपदकी विभक्तिका विश्रामके लिए मिलनेवाला अवकाश । लोप नहीं होता (सरसिज, असूर्यपश्या)।
अल्पाहार, अल्पाहारी (रिन् )-वि० [सं०] जिसका अलुझना*-अ० क्रि० दे० 'अरुझना' ।
आहार थोड़ा या संयत रहता हो। अलुटना*-अ० क्रि० लोटना; लड़खड़ाना।
अल्पिष्ट-वि० [सं०] (मिनिमम) कमसे कम; न्यूनतम । अलूप-वि० दे० 'अलोप'।
अल्पीकरण-पु० [सं०] (डेरोगेशन) अधिकार, प्रतिष्ठा, अलूला-पु० बुलबुला लपट; उद्गार ।
महत्त्व,शक्ति आदिका घट जाना या उसमें कमी हो जाना । अलेख-वि० बे-हिसाब; अशेय; अदृश्य ।
अल्ल-पु० वंश या कुलका नाम (तिवारी, पाँडे, मिसिर इ०)। अलेखा-वि० अनगिनत; वृथा।
अल्लम-गल्लम-पु० अंड-बंड, अनाप-शनाप अलेखी*--वि० अन्यायी, अंधेर करनेवाला ।
अल्ला-पु० [अ०] दे० 'अल्लाह' । अलोक-वि० [सं०] अदृश्य; निजंन । पु० जगत् नहीं,
अल्लाना*-अ० क्रि० चिल्लाना पातालादि लोक; संसारका विनाश; आध्यात्मिक जगत् अल्लाह-पु० [अ०] परमेश्वर, खुदा।-अल्लाह-अविस्मय * अपयश, बदनामी।
और इलाधा-सूचक उद्गार । अलोकना*-स० क्रि० देखना, अवलोकन करना। अल्लाहो अकबर-अ० [अ०] ईश्वर महान् है भलोचन-वि० [सं०] नेत्रहीन बिना खिड़कीका (मकान)। अल्हजा*-पु० इधर-उधरकी बात, गप। अलोना-वि० बिना नमकका; बे-मजा ।
अल्हड़-वि० बालोचित सरलताके साथ मस्त और लापरअलोप-पु० [सं०] लुप्त न होना (वर्ण आदिका) । * वि० वाह; दुनियादारी न जाननेवाला; भोला। -पन-पु० लुप्त, अदृश्य, गायब।
अल्हड़ स्वभाव भोलापन और लापरवाही। अलोल-वि० [सं०] अचंचल, स्थिर; इच्छारहित । अल्हर*-वि० दे० 'अल्हड़'। अलोलिक*-पु० अचंचलता, स्थिरता ।
अवंति, अवंती-स्त्री० [सं०] एक प्राचीन नगर, आधुनिक अलोलुप-वि० [सं०] जो लालची न हो, लोभरहित।
उज्जैन मालव जनपद । अलोकिक-वि० [सं०] जो लोकमें न मिलता हो, लोको- | अवंतिका-स्त्री० [सं०] उज्जैन; उज्जैनकी भाषा । त्तर; अमानुपी; अतिप्रकृत; असाधारण; अद्भुत; विरल। अवंश-वि० [सं०] नि:संतान । पु० नीच या खराब कुल । अल्प-वि० [सं०] तुच्छ; थोड़ा, कम; छोटा । -कालीन अव-उप० [सं०] यह दूर या नीचे होने, निश्चय, व्याप्ति, ऋण-पु० (शार्ट टर्म लोन) वह ऋण जो थोड़े ही समयके अल्पता, हास, शान आदिका बोध कराता है। लिए लिया गया हो अतः जो शीघ्र ही (प्रायः ५-१० अवकर--पु० [सं०] बहारनेसे निकली हुई धूल आदि, कूड़ा। वर्षोंके भीतर) अदा कर दिया जाय । -जीवी (विन)- -पात्र-पु० ( डस्टबिन) झाड़ने-बुहारनेसे निकला हुआ वि० अल्पायु । -ज्ञ-वि० थोड़ा जाननेवाला; मूर्ख।। कूड़ा रखनेकी टोकरी, अवकरी।
० थोड़ी बुद्धि रखनेवाला, मूर्ख। -प्राण-पु० अवकरी-स्त्री० (डस्टबिन) 'अवकर-पात्र'। प्रत्येक व्यंजन वर्गका पहला, तीसरा और पाँचवाँ अक्षर | अवकलन-पु० [सं०] देखना; जानना; ग्रहण । तथा य, र, ल, व (व्या०)। -बुद्धि,-मति-वि० दे० अवकलना*-अ० क्रि० सूझना; समझमें आना। 'अल्पधी' । -भाषी (पिन्)-वि० कम बोलनेवाला। अवकलित-वि० [सं०] देखा हुआ; शात; गृहीत । -भोग योजना-स्त्री. (ऑस्टेरिटी स्कीम) आवश्यक अवकाश-पु० [सं०] स्थान; शून्य स्थान; अंतर, व्यवधान, वस्तुओंका कम प्रयोग करने, कष्ट उठाते हुए थोड़ेसे फासला; अवसर, दरार, छिद्र गुंजाइश, फुरसत, “छुट्टी; पदार्थोंसे ही काम चला लेनेपर जोर देनेवाली योजना, दृष्टिपात । -ग्रहण-पु० काम या नौकरीसे अलग होना, मितोपभोग योजना, कष्ट सहन योजना । -मत-पु० पेंशन लेना, रिटायर होना ।-प्राप्त-वि. जो काम या छोटा, अल्पसंख्यक पक्ष या.समुदाय, बहुमतका उलटा। | नौकरीसे अलग हो चुका हो, 'रिटायर्ड'।
नौकरीसं अलग हा चुका हा, । -वयस-वयस्क-वि० छोटी उम्रका, कमसिन । अवकिरण-पु० [सं०] बिखेरना; दे० 'अवकर'। -वादी सदस्य-पु० (बैकोचर) दे० 'क्वचिदभाषी अवकीर्ण-वि० [सं०] बिखेरा हुआ; फैलाया हुआ; चर सदस्य ।' -विराम-पु० अर्थबोधके लिए किसी शब्दके | किया हुआ ध्वरत; जिसका ब्रह्मचर्य व्रत भंग हो गया हो।
For Private and Personal Use Only