________________
Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra
४४
विषय विरेचन विधि
अन्य घृत अन्य प्रयोग
अन्य घृत अन्य घी
घृतपान के पीछे विरेचन
अन्य चूर्ण
गवाक्षादि चूर्ण नारायण चूर्ण पुषादि चूर्ण नलिन्यादिक चूर्ण उदर रोग में दुग्धपान
अन्य चू
स्नुही घृत अन्य घृत अन्य विधि
पेया पान
घृत पचने पर कर्त्तव्य
बार बार घृत प्रयोग घी के प्रयोगका विधान
आनाह पर घी
दोष दूर होने पर पथ्य उदर रोग में हरीत की सेवन अन्य प्रयोग
प्रवृद्ध उदर की चिकित्सा उदर रोग में भोजन पार्श्वशूलादि की चिकित्सा अरण्डी के तैलका प्रयोग
उदर पर प्रलेप उदर का परिषेक उदर वेष्टन
आध्मान में निरूहण
आध्मान में वस्ति
सदर चिकित्सा की समाप्ति घातोदर की चिकित्सा संसर्ग के पीछे दूधपान
www. kobatirth.org
अष्टांगहृदयकी
पृष्टांक | विषय
33
उदर रोग में वस्ति प्रयोग उदररोग में अनुवासन
33
६२० पित्तज उदर रोग में चिकित्सा
दुर्बल को अनुवासन वस्ति
53
दूध और बस्ति का वार वार प्रयोग ६२६ फोदर की चिकित्खा
फोदर में निरूहादि
""
33
33
"3
99
"3
""
६२१ उदर रोग में उपनाह
""
29
"
६२२ | हृदोष में कर्त्तव्य
55
93
33
""
33
६२३
73
""
"3
93
35
33
27
"
""
13
33
कफोदर रोग पर क्षार
उदर रोग में अरिष्टपान
"
Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir
वद्धोदर की चिकित्सा
33
६२४ छिद्रोदर की चिकित्सा
उदकोदर की चिकित्सा
अन्य चिकित्सा
उदकोदर शस्त्र प्रयोग
19
faraiदर की चिकित्सा
त्रिदोषज जठर में चिकित्सा स्थावर विषका प्रयोग
जठर में हथनी का दूध tories की चिकित्सा उक्तरोग में क्षार पानादि
जल के साथ चूर्ण fasगादि सेवन
अन्य प्रयोग कमलादि रोगों पर दवा
अन्य प्रयोग
प्लीहा पर तैल
अन्य प्रयोग
पैत्तिक प्लीहा का उपाय
यकृत की चिकित्सा
अस्त्र प्रयोग विधि
अन्य जलोदरों का उपाय
जलोदर की अन्य चिकित्सा
आहार में वर्ज्या वर्ज्य
सर्वोदर चिकित्सा
For Private And Personal Use Only
पृष्ठांक
६२५
در
11
"
"3
"
"
६२७
93
"
"
23
६२८
2-2-20
."
39
६२९
و
11
31
57
--
६३०
J.
६३१
:::