________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir आदित्यहृदयंजपेत् // 90 // एतन्मंत्रंसमाहूयसर्वसिद्धिकरंपर / म्॥ऑन्हीहिमालीदंस्वाहा // ओहीनिलीढंस्वाहा / / ओही मालीढंस्वाहा // // इतिमंत्रः॥॥ त्रिमिश्चरोगीभवतिज्वरीम वतिपंचभिः ॥जपैस्तुसप्तभिःपार्थराक्षसींतनुमाविशेत् // 9 // राक्षसेनाभिभूतस्यविकारान् शृणुपांडव // गीयतेनृत्यतेनग्न * आस्फोटयतिधावति ॥९२।।शिवारुतंचकुरुतेहसतेकंदतेपुनः एवंसंपीडयतेपार्थयद्यपिस्यान्महेश्वरः // 93 // किंपुनर्मानु *षःकश्चिच्छौचाचारविवर्जितः॥ पीडितस्यनसंदेहोज्वरोभव *तिदारुणः // 94 // यदाचानुग्रहंतस्यकर्तुमिच्छेच्छुभंकरम् // *तदासलिलमादायजपेन्मंत्रमिमंबुधः // 95 // नमोभगवते तुभ्यमादित्यायनमोनमः॥ जयायजयभद्रायहरिदश्वायतेन *मः॥९६|स्नापयेत्तेनमंत्रणशुभंभवतिनान्यथा / / अन्यथाचभ . * वेदोषोनश्यतेनात्रसंशयः॥९७॥ अतस्तेनिखिल प्रोक्तःपूजा ******************************** For Private and Personal Use Only