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हमारा महत्वपूर्ण आगामी प्रकाशन
भारतवर्षीय मध्ययुगीन चरित्रकोश
(मौर्य चंद्रगुप्त से अंग्रेजी साम्राज्य के प्रारंभ तक, ३२१ पू. - १८१८ ई. स. )
इस ग्रंथ में भारतीय इतिहास के मध्ययुगीन कालखंड में उत्पन्न राज कारण, धर्मकारण, समाजकारण, वाव्यय, कला, सनिहाय आदि से संबंधित छ हजार से अधिक व्यक्तियों के जीवनचरित्र एवं तद्विषयक संदर्भसहित सामग्री अकारादि क्रम से एवं सप्रमाण प्रस्तुत की गयी है।
भारतीय इतिहास के एक अत्यंत महत्वपूर्ण कालखंड से संबंधित व्यक्तियों की विस्तृत एवं सप्रमाण जानकारी प्रस्तुत करनेवाला यह ग्रंथ भारतीय इतिहास के प्रत्येक विद्यार्थी, अध्येता, संशोधक एवं सर्वसामान्य पाठक के लिए अत्यंत उपादेय होगा ।
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' मध्ययुगीन चरित्रकोश' का मराठी संस्करण लगभग पच्चीस साल पहले प्रकाशित हो चुका था, जिसके संबंध मैं अपना अभिमत व्यक्त करते समय 'टाईम्स ऑफ इंडिया', बंबई, ने लिखा था :
'It embodies long and painstaking research and as a work of reference it should prove indispensable to those interested in India's Past.'
Times of India, 28th Jan. 1938
मराठी में प्रसिद्ध हुए, 'मध्ययुगीन चरित्रकोश का परिवर्धित हिंदी संस्करण अब प्रकाशित हो रहा है, जिसमें मूल मराठी ग्रंथ से अधिक ६०० पृष्ठों की नयी जान कारी समाविष्ट की गयी है।