________________
णीरंजिश्र] ( ३३० )
[णीसाइ णीरंजिअ त्रि० ( भग्न ) तोड़ा हुआ; छिन्न. टपकने वाला; Oozing; Trickling. सु. Broken. कुमा०
च०१६ णीरंध. त्रि० ( नीरन्ध्र) निश्छिद्र. Notणीस?. त्रि० (निःसृष्ट) प्रदत्त , Given. बृह. porous. कप्पू०
(२) क्रि०वि०अतिशय; अत्यन्त.Excessive; णीरनिहि. पु. (नीरनिधि) समुद्र सागर. | Profuse. उप० A seil. सु. च० २०१;
| णीसण. पुं० (निःस्वन) श्रावाज; शब्द; ध्वनि, णीरव. त्रि० ( आक्षेपक) श्राक्षेप करने वाला, A sound. सुर० १३, १८२; कुप्र० ५६; An accusant; An accuser. कुमा० णीसत्त. त्रि. ( निःसत्त्व ) सत्व-हीन; बलणीरस. त्रि० (नीरस) रस रहित; शुष्क. Dry; | रहित. Week; Feeble, Powerless.
Tasteless; Insipid. गउड० महा० पउम० २१, ७५; कुमा० णीरसजल. न. (नीरसजल ) आयंबिल तप. णीसद्द. त्रि० (निःशब्द) शब्द-रहित. A particular religious austerity. Soundless. भवि० संबोध० ५८
णीसरण. न. (निःसरण) (१) निगमन. णीराग-य. त्रि. (नीराग ) राग रहित.; वीत Comming out. से. ६, १८, (२) राग. Free from affection. गउड. फिसलन; रपटन. To slip वव० ४; कुप्र० १२५; कुमा०
णीसरिश्र. त्रि० (निःसृत) निर्गत; निर्यात. णीरेणु. त्रि० ( नीरेणु) रज-रहित. Free Gone forth or out. सु. च• २४७, from dust. गउड.
णीसल, त्रि० (निःशल्य) (१) निश्चल, स्थिर. णील. पुं० (नील) (१) रामचन्द्र का एक | Steady; Firm. (१) वक्रता रहित;सपाट. सुभट; वानर विशेष. A warrior of | Straight; Smooth; Flat. सुर० Ranichundrai. से. ४, ५, (२) छन्द- ३, ७२; विरोष, A particular verse. पिंग णीसल्ल. त्रि०( निःशल्य ) शल्य रहित. Des णीलिम. पु. स्त्री० (नीलिमन्) नीलत्व; | titute of hypocresy superstition नीलापन; हरापन. Blueness; Green- etc. etc. (deceit etc. ) UnsoBluishness. सुपा० १३७;
phisticated. भवि० णीलिअ. त्रि० (निःसृत ) निर्गत; निर्यात. | णीसवत्त. त्रि० (निःसपत्न) शत्रु रहित; विपक्ष Export; Exit. कुमा०
रहित, Free from enemies; णीवी. स्त्री० (नीवी ) (१) मूल-धन; पूंजी. | Impartial. मृच्छ० ८; पि० २७६;
Wealth. (२) नारा; इजारबन्द, Aणीलसण. न० (निःश्वसन ) निःश्वास. To string; A fillet. षड्० कुमा०
_heave. कुमा० णीसंख. त्रि० (निःसंख्य) संख्या रहित; असंख्य. | णीसह. त्रि० (निःसह) मन्द; असक्त. Slow; Innumberable; Numerous. सु० | Weak. हे० १, १३; कुमा० च० ३५५
णीसह. त्रि. (निःशाख) शाखा-रहित. णीसंदित्र. त्रि० (निःष्यन्दित ) झरा हुआ; | Branchless. गा० २३०; टपका हुआ. Oozed; Leaked.
पाणीसाइ. त्रि. (निःस्वादिन ) स्वाद रहित. णीसंदिर, त्रि० (निःप्यन्दित) झरने वाला. | Tasteless; प्रवि. १०,
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org