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प्राकृतपद्यानुक्रमणी
१११
वह
जह परदव्यं सेडिदि
समय० ३६० जह मारुओ पवड्ढइ भ० प्रारा०८११ जह परदव्वं सेडिदि समय० ३६३ । जह मूलम्सि विणढे
दसणपा० १० जह परदव्यं सेडिदि समय० ३६४ जह मूलाओ खंधो
दसणपा० ११ जह परमएणस्स विसं म० श्रारा ८४५ जह रयणाणं पवर
भावपा०८० जह पव्वदेसु मेरू भ० धारा० ७८५ जह रयणारा वइरं
भावस०५२६ जह पाहाण-तरंडे भावसं. १८७ जह रससिद्धो चाई
णयच० ७८ जह पुग्गलदव्याणं
पचत्यि०६६ जह रायकुलपसूत्रो (दो) म० श्रारस०२० जह पुण ते चेव मणी सम्मइ०१-२४ जह राया ववहारा
समय० १०८ जह पुण सो चिय पुरिसो समय० २२६ / जह रुद्धम्मि पवेसे
चसु० सा० ४४ जह पुण सो चेव णरो समय०२४२ जह रोग-सोग-हीणा जवू० १० ११२ जह पुण्णापुरणाइ + एचस०१-४३ जह लोहणासट्ट कत्ति० अणु०३४१ जह पुण्णापुण्याइ + गरे०जी० ११७
जोगसा० ७२ जह पुरिसेगाहारो समय० १७६
दव्चस० गय० ३४५ जह फणिराओ रेहड भावपा० १४३ . जह वा अग्गिस्म सिहा भ. धारा० २१३० जह फलिहमणिविमुद्दो मोक्खपा० ५१ । जह वाणियगा सागर- भ० श्रारा० १६७३ जह फलिहमणी सुद्धो समय० २७८
पाय म. श्रारा० १२४४ जह फुल्लं गंधमय
बोधपा० १५ जह वालुयाए अवडो भ० श्रारा०५७६ जह वधे चिंततो समय. २६१
दच्चस० गय० ३८० जह वधे छित्तूण य समय० २६२ जह विसमुवमुज्जतो
समय० १६५ जह बालो जप्पंतो*
मूला० ५६ जह विसयलुद्ध विसदो (१) सीलपा० २१ जह बालो जप्पंतो .. भ० श्रारा० ५४७ जह वोसरित्तु कत्ति
मूला० ६२५ जह वाहिरलेस्साअो भ० श्रास. १९०७
रायच०४ जह बीयम्मि य दड्ढे भावपा० १२४
दश्वम० गय० १७५ जह भद्दसालऽरपणे जबू०प०४-६५
दवस० णय. २८८ जह भहसाल-सुवणे जबू० प. ५-१२१
भावपा० १५२ जह भंडयारिपुरिसो - भावस० ३३८ । जह सलिलेण व लिप्पियइ जोगसा० १२ जह भंडयारिपुरिसोकम्मप० ३५ - जह सवरणाणं भणियं
छेदस० ७१ जह भारवहो पुरिसोx पचस० १-७६ / जह संखो पोग्गलदो समय०२२२२०१४ (ज०) जह भारवहो पुरिसोx गो० जी० २०१ जह सबधविसिट्ठो
सम्मइ०३-१८ जह भेसज पि दोस भ० श्रारा० ५८ जह सिप्पिउ कम्मफल
समय० ३५२ जह मक्कडो खणमवि भ० श्रारा०७६१ जह सिप्पियो उ कम्म
समय० ३४६ जह मक्कडओ यादो भ० श्रारा० ८५४ जह सिप्पिओ उ करणा- समय ३५१ जह मच्छयाण पयदे
मूला० ४८६ | जह सिप्पिो उ करणे- समय० ३५० जह मज्ज तह य महू वसु० सा० ८० जह सिप्पिओ उ चिट्ठ
समय० ३५४ जह मज्नं पिवमाणो
समय० १६६ / जह सीलरक्खयाणं भ० श्रारा० ६६४ जह मज्म तम्हि काले
मूला० ७६६ जह सुकुसलो वि वेज्जा भ० धारा० ५२८ जह मज्झिमम्मि खित्ते वसु० सा० २४१ जह सुत्तबद्ध-सउरणो
भ.श्रारा० १२७८ जह मणुए तह तिरिए दवस० णय० ८८
जह सुद्धफलिहभायण-४ पचस० १-२६ जह मणुयारणं भोगा जबू० प०२-१६१ जह सुद्धफलिहभायण-x भावस०६६२ जह मणुयाणं भोगा तिलो. प० ४-३६० / जह सुह णासइ असुहं दवस० णय० ३४२