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________________ 3. 4. 5. 6. समीकरण उदाहरण: (i) 1 + 4 + 4 ब 2 =1+2.2+(2)2 =(1+2a)2 उदाहरण: (i) क2 + 6क + 8 = क + 4क + 2क + 8 उदाहरण : उदाहरण: (i) अ + 27 = अ + 33 = (अ+3) (अ2 - ( अ + 3 ) ( अ2 कर्मशाला परिकलन / 45 = क ( क + 4 ) + 2 (क + 4 ) - ( क + 4 ) ( क + 2) 3अ + 32 ) 3अ + 9 ) (ii) म2 – 4 म +4 कख + कग +ख + ग -क(ख+ग) + (ख+ग) - (ख+ग) (क+1) क2 + 2क ख + ख± ( क + ख ) 2 क' – 2 क ख + ख' = ( क — ख ) 2 = म±—2.2म + (2)2 = ( म – 2 ) 2 (ii) अ2–2अ–8 अ± + (क+ख) अ + क ख (अ + क ) ( अ + ख) - अ2 - 4अ + 2अ - 8 = अ ( – 4) + 2 ( अ – 4) - ( अ - 4 ) ( अ + 2) (ii) क - 8 सरल समीकरण: समीकरण एक तराजू की भान्ति है । दोनों तरफ समान मात्रा में बढ़ाई जा सकती है या घटाई जा सकती है । क+ख' (क+ ख) (क2 - क ख + ग 2 ) क—ख = (कख) (क2 + क ख + ग 2) क - 28 - ( क – 2) (क2 + क. 2+22) - (क- 2) (क2 + 2क + 4 ) क ग+ख ग+क घ+ख घग (क+ख) + क (क+ख) — (क+ख) (ग+घ) (ii) अ ब ब ' + 8अ – 8 =अ(अ±–1) + 8 (अ – 1 ) = ( अ – 1 ) (ब + 8) (iii) (अ + 2 ) ( अ + 4 ) ( अ + 8 ) ( अ + 10 ) +20 — (3T+2) (3+ 10) (+4) (+8) + 20 = (a2+12+20) (2+12+32)+20 माना अ + 12अ क तब (अ' +12अ + 20 ) ( अ + 12अ + 32 ) + 20 = ( क + 20 ) ( क + 32 ) + 20 252+640+20=2+52 +560 - क ( क + 30 ) +22 (क +30) 'क' का मान ऊपर रखते हुए : (अ +12 अ + 22 ) ( अ 2 + 12अ + 30 ) इस प्रकार गुणनखण्ड (अ 2 + 12अ + 22) और ( अ + 12अ + 30 ) बनते है । अथवा, दोनों तरफ समान मात्रा से गुणा की जा सकती है या भाग की जा सकती है ।
SR No.010393
Book TitleKarmashala Parikalan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGurubachansingh Narang
PublisherHariyana Sahitya Academy Chandigarh
Publication Year1987
Total Pages149
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size10 MB
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