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श्री जिनहर्ष ग्रंथावली श्री सुपास जिनवर सातमउ, चंद्रप्रभ नमीयइ आठमउ ।।२।। सुविधिनाथ नवमउ जिनराय, दसमुउ शीतलनाथ कहाय । श्री श्रेयांस जिन इग्यारमउ, श्री श्री वासुपूजि बारमउ ॥३॥ विमलनाथ नमीयइ तेरमउ, अनंतनाथ कहीयह चउदमउ । धर्मनाथ पूजु पनरमउ, शांतिनाथ समरूं सोलमउ ॥ ४॥ कुंथुनाथ कहियइ सतरमु, श्री अर जिनवर अढ़ारमउ । मल्लि जिणेसर उगणीसमउ, मुनिसुव्रत महीयइ चीसमउ ॥५॥ श्रीनमि नमियइ इकवीसमउ, श्री नेमीसर बावीसमउ । पार्श्वनाथ कहि त्रेविसमउ, महावीर वलि चउवीसमउ ॥६॥ ए चउबीसे जिनवर नाम, ग्रह ऊठी निति कर प्रणाम । हेलइ जायइ भवना पाप, सहु जिनहरख टलइ संताप ॥ ७ ॥
श्री चउवीस जिन स्तवनं
ढाल || जटणीना गीतनी ॥ चउवासे जिनवरना पायनम, पाम भवसायर नउ पार । मोटांनइ नामइ वंछित मिलइ, लहीयइ मुगति तणासुख सार॥१॥ नयरी अयोद्धा रिखम जिणेसरु, नाभिपिता मरुदेवा माय । लंछण वृपभ सुरूप सुहामणउ, अहनिसि सेवे प्रभुना पाय ॥२०॥
अजित अयोद्धा नयरी नउ धणी, जितशत्रु विजया राणी नंद । ___ गज लंछण कंचण तनु दीपतउ, नयणे दीठां परमाणंद॥३च।।
त्रीजउ श्री संभवजिन गाईयइ, सावत्थी नयरी अवतार। सेनाराणी मायलंछण तुरी, बंश जितारि तणउ शृंगार ॥४च०॥