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________________ २३० जैनराजतरंगिणी [१:७ : २०१-२०५ स चेत्तन्निशि हत्वैकमहरिष्यत् तुरङ्गमान् । अलभिष्यदू ध्रुवं राज्यं बुद्धिः कर्मानुसारिणी ॥ २०१॥ २०१. यदि वह उसी रात्रि एक को मार कर, तुरंगों को हर लेता, तो निश्चय ही, राज्य प्राप्त करता। ( ठीक ही है ) बुद्धि कर्मा( भाग्य )नुसारिणी होती है। अत्रान्तरे हाज्यखानः कोशेशानुजचोदितः । राजधान्यङ्गनं गत्वा तुरङ्गाद्यहरत् पितुः ॥ २०२॥ २०२. इसी बीच कोशेश के अनुज द्वारा प्रेरित, हाज्य खान ( हाजी ) राजधानी के प्रांगण में जाकर, पिता के तुरंगादि को हर लिया। यद्वार्तया विनिर्धेर्या येऽभवन् सुतसेवकाः ।। विविशुस्ते ससंनाहाः समदाः कालपर्ययात् ।। २०३ ॥ २०३. जिसकी वार्ता मात्र से ही जो सुत एवं सेवक धैर्यरहित हो गये थे, वे समय परिवर्तन से, वर्मयुक्त तथा गर्वीले होकर, प्रवेश किये। अभिमन्युप्रतीहारमुखा निन्द्य यदब्रुवन् । तदुत्पिजे तत्फलं तैरचिरेणानुभूयते ॥ २०४ ॥ २०४. अभिमन्यु प्रतिहारादि' जो निन्दनीय बात कहे थे, वे उस उपद्रव में उसका फल शीघ्र प्राप्त किये। तदिने हाज्यखानः स सबलो बहिरास्थितः ।। नाशकज्जनकं द्रष्टुं सोत्कोऽपि द्रोहशङ्कया ॥ २०५॥ २०५. उस दिन सेना सहित बाहर हाजी खान उत्कण्ठित होने पर भी, द्रोह की शंका से पिता को नहीं देख सका। बहराम खाँ के नेतृत्व में प्रायः उस पर आक्रमण वह उपद्रव के भय और विरोधियों के विश्वासघात किया करती थी। द्र०:१:३:८२-८५; १:७: के कारण महल के भीतर न गया' (४४५ = ६७१)। ९२ । पाद-टिप्पणी: पाद-टिप्पणी : २०१. 'अभिलष्यद ध्रुवम्' । पाठ-बम्बई । २०४. (१) प्रतिहार : पदर। द्रष्टव्य पाद-टिप्पणी: टिप्पणी : १:१:८८, १५१; ३ : ४६३; ४ : २०२. (१) तुरंगादि : तवक्काते अकबरी मे १६७, २६२ । कल्हण के वर्णन से प्रकट होता है उल्लेख है-'हाजी खाँ अमीरों के बुलवाने पर कि वे इतने शक्तिशाली होते थे कि राजा को सिहाआया और उसने सुल्तान की अश्वशाल के समस्त सन पर बैठा और उतार सकते थे (रा०:५:१२८, घोड़ों ( तुरंगो) पर अधिकार जमा लिया और ३५५)। राजा से मिलाने तथा दूतों को राजा के उसके पास बहुत बड़ी सेना एकत्र हो गयी किन्तु सामने उपस्थित करने का काम प्रतिहारों का था।
SR No.010019
Book TitleJain Raj Tarangini Part 1
Original Sutra AuthorShreevar
AuthorRaghunathsinh
PublisherChaukhamba Amarbharti Prakashan
Publication Year1977
Total Pages418
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari & Literature
File Size35 MB
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