________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir ओहनिपुति - (1077) 24||-723 725||-724 1726]1-725 727||-728 72811-727 // 729||-728 730|-729 |731||-730 // 732||-731 (1077) संघारुत्तरपट्टोअड्डाइसाय आयया हत्या दोण्हंपिय वित्थारो हत्यो चउरंगुलं चेव (1078) पाणादिरेणुसारक्खणठ्या होति पट्टगा घउरो छप्पइयरक्खणट्ठा तत्युवरि खोमियं कुञा (1079) रयहरणपट्टमेत्ता अदसागा किंचि या समतिरेगा एकगुणा उनिसेशा हत्यपमाणा सपच्छागा (1080) वासोवग्गहिओ पुण दुगुणो उवही उ वासकप्पाई ___ आयासंजमहेउं एक्कगुणो सेसओ होइ (1081) जंपुण संपमाणाओईसिंहीणाहियं व लंभेजा उभयपि अहाकडयं न संघणा तस्स छेदो वा (1082) दंडए लड़िया चेव चम्मए चम्मकोसए चम्मच्छेदण पद्देवि चिलिमिली धारए गुरू (1.83) जंचण्ण एवमादी तवंसजमसाहगंजइजणस्स ओहाइरेगगहियं ओवग्गहियं वियाणाहि (1084) लट्ठी आयपमाणा विलचिउरंगुलेणं परिहीणा दंडो बाहुपमाणो विदंडओ कक्खमेत्तोउ (1085) एक्कपव्यं पसंसंति दुपव्वा कलहकारिया तिपव्वा लाभसंपन्ना चउपव्या मारणंतिया (1086) पंचपव्वा उ जा लट्ठी पंये कलहनिवारणी छच्चापव्वाय आयंको सत्तपव्वा अरोगिया (1087) चउरंगुलपइवाणा अटुंगुलसमूसिया सत्तपव्या उजा लट्ठी मत्ता ता गयनिवारिणी (1088) अट्ठपव्वा असंपत्ती नवपव्याजसकारिया दसपव्वा उजा लट्ठीतहियं सव्यसंपया (1089) वंका कीडक्खइया चित्तलया पोल्लद्धाय दड्ढा य लट्ठी य उमसुक्का वजेयव्या पयत्तेण (1090) विसमेसु य पव्वेसुंअनिष्फत्रेसुअच्छिसु फुडिया फरुसवन्नाय निस्साराचेव निंदिया (1091) तणूई पव्वमग्झेसुयूला पोरेसुगंठिला अथिरा असारजरदा साणपायाय निंदिया (1092) धणवद्धमाणपव्वा निखा वत्रेण एगवन्ना य धणमसिणवट्टपोरा लद्विपसत्था जइजणस्स (1093) दुद्रुपसुसाणसावयचिक्खलविसमेसु उदगमझेतु लट्ठी सरीरक्खातयसंजमसाहिया मणिया (1094) मोक्खट्टा नाणाई तणू तया तपहिया लट्ठी दिवो जहोवयारो कारणतक्कारणेसु तहा ||733 / 1-732 |734||-733 73511-734 // 736||-736 |737 / 1-736 ||738||-737 / 739||-738 ||74011-739 // 741||-740 For Private And Personal Use Only