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सुयक्खंधी-१, अज्प्रयणं-५
सुयरस अंतिए धम्मे निसंते से विच मे धम्मे इच्छिए पडिछिए अभिरुइए तए णं अहं देवाणुप्पिया संसारभवि [भीए जम्मण जर मरणाणं सुयस्स अणगारम्स अंतिए मुंडे भवित्ता अगाराओ अणगारिय] पचयामि तुभे णं देवाणुप्पिया किं करेह किं ववसह किं वा भे हियइच्छिए सामत्ये तए
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ते पंथगपामोक्खा पंच भंतिसया सेलगं रायं एवं वयासी-जइ णं तुभे देवाणुपिया संसारभउ - व्विग्गा जाब पव्वग्रह अम्हं णं देवाणुप्पिया के अण्णे आहारे वा आलंबे वा अम्हे विवणं देवाणु - पिया संसारभउविग्गा जाव पव्वयामो जहा णं देवाणुपिया अम्हें बहू कज्जेसु य कारणेसु य [कुटुंबेसु य मंतेसु य गुज्झेसु य रहरसेसु च निच्छएसु य आपुच्छणिज्जे पडिपुच्छणिजे मेढि प्रमाणं आहारे आलंबणं चक्खू मेढीभूए पमाणभूए आहारभूए आलंबणभूए चक्कुभूए। तहा णं पव्वइयाण वि समाणाणं बहूसु कज्जेसु य जाब चक्खुभूए तए णं से सेलगे पंथगपामोक्खे पंच मंतिसए एवं बयासी
जगणं देवाणुपिया तुभे संसारभउच्विग्गा जाव पव्वयइ तं गच्छह णं देवाणुप्पिया सएसु-सएस कुटुंबेसु जेट्ठपुत्ते कुटुंबमज्झे ठावेत्ता पुरिससहस्सवाहणीओ सीयाओ दुखदा समाणा मम अंतियं पाउदभव ते वि तहेव पाउब्भवंति तए णं से सेलए राया पंच मंतिसवाई पाउवाणाई पास पासित्ता हतु कोडुंबियपुरिसे सहावेइ सद्दावेत्ता एवं वयासी - खिप्पामेव भो देवाणुपिया मंडुवस्स कुमारस्स महत्थं [ महग्धं महरिहं विउलं] रायाभिसेयं उबलवेह [तिए णं ते कोडुंबिय पुरिसा मंडुवास कुमारस्स महत्थं जाव उवडवेति तए णं से सेलए राया बहूहिं गणनायगेहि य जाब संधिबालेहिं न सद्धिं संपरिबुडे मंडुयं कुमारं जाव रायाभिसेएणं अभिसिंइ तए णं से मंडुए राया जाए महाहिमवंत-महंत मलय-मंदर-महिंदसारे जाव रज्जं पसासेमाणे ] विहरइ तए णं से सेलए मंडुवं रायं आपुच्छइ तए णं मंडुए राया कोडुंचियपुरिसे सद्दावेइ सद्दावेत्ता एवं वयासीखिम्पामेव भी देवाणुप्पिया संलगपुरं नयरं आसिय जाव गंधवट्टिभूयं करेह य कारबेह य एयमाणत्तियं पञ्चप्पिणए तए णं से मंडुए दोघं पि कोडुंवियपुरिसे एवं बयासी खिप्पामेव भी देवाणुप्पिया सेलगस्स रण्णो महत्वं जाव निकुञ्जमणाभिसेवं करेह जहेब मेहस्स तहेव नवरं परमावती देवी अग्गकेसे पडिच्छइ सच्चेव पडिग्गहं गहाय सीयं दुरूहइ अवसेसं तहेव जाव [तए णं से सेलगे पंचहिं पंतिसएहिं सद्धिं सयमेव पंचमुट्ठियं लोचं करेइ करेशा जेणामेव सुए तेणामेव उवागच्छइ उवागच्छित्ता सुयं अणगारं तिक्खुत्तो जाव पव्चइए तए णं से सेलए अणगारे जाए जाव कम्पनिग्धायणट्ठाए एवं च णं विहरइ तए णं से सेलए सुवस्स तहारूवाणं थेराणं अंतिए । सामाइयमाइयाई एक्कारस अंगाई अहिज्जइ अहिजित्ता वहूहिं चउत्थ- [छद्रुम- दसम दुवालसेहिं मासद्धमासखमणेहिं अप्पाणं भावंमाणे] विहरइ तए णं से सुए सेलगस्स अणागारस्स ताई पंथगपामोक्खाई पंचं अणगारसयाई सीसत्ताए वियरइ तए णं से सुए अण्णया कयाइ सेलगपुराओ नगराओ सुभूमिभागाओ उज्जाणाओ पडिनिक्खमइ पडिनिक्खमित्ता बहिया जणवयविहारं विहरइ तए णं से सुए अणगारे अण्णया कयाइ तेणं अणगारसहस्सेणं सद्धिं संपरिवुडे पुव्वाणुपुव्विं चरमाणे गामाणुगामं दूइजमाणे सुंहसुहेणं विहरमाणे जेणेव पुंडरीयप्पवर । तेणेव मेघणसन्निगासं देवसन्निवायं पुढविसिलापट्ट्यं पडिलेहेइ पडिलेहेत्ता जाव संलेहणा-झूसणा-झूसिए भत्तपाण- पंडियाइक्खिए पाओवमगमणंणुबन्ने तए णं से सुए बहूणि वासाणि सामण्णपरियागं पाउणिता मासियाए, संलेहणाए अत्ताणं झूसित्ता सद्धिं भत्ताइं अणसणाए छेदित्ता जाव केवलवरनाणदंसणं समुप्पाडेत्ता
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