SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 460
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ ७२ अनुक्रमणिका. अक्षरानुक्रमवार ग्रंथोना नाम.. पृष्ठांक, अक्षरानुक्रमवार ग्रंथोना नाम. पृष्ठांक, सम्यकप्रकरण वृत्ति सर्वजिनस्तुति " वृत्ति ___... १९१ सम्यक पंचविंशतिका " अवचूरि सर्वज्ञपरीक्षा सर्वज्ञवादस्थळ सर्वज्ञव्यवस्थापनावाद सर्वज्ञ स्तव सर्वज्ञसिद्धि प्रकरण समत्त्करत्नमहोदधि .... १९१ सम्यत्करहस्य स्तोत्र १४६ ८०-१०२ समत्कसप्ततिका सर्वज्ञस्तोत्र २९४ - ... ... १९१ १९१ - " वृत्त सर्वतीर्थावली स्तव , अवचूरि १९१ सर्वमनिर्णय सम्यकस्वरूप स्तव (साव )... १४५ . सम्यक्त्कालंकार सर्वस्थल सर्वांगसुंदरी कथा (प्रा.) ... सर्वार्थनिराकरण स्थल २६१ सम्यत्कोत्पादनिधि सम्यकोद्धार ... १९१ सवन कथा समाथितंत्र सहस्रमल्लचोर कथा ::::::: " टीका ११३ सातव्यसनकथासमुच्चय समाधिशतक साधर्मा कुलक २०४ समीकापार्श्व स्तोत्र साधारणजिनस्तव २२४ , अवचूरि समीनपार्श्व स्तोत्र सरस्वती स्तव (महामंत्रगर्भित). साधारणजिनस्तव २४ सरस्वती स्तोत्र ... २९४ २९४ । , अवचूरि :
SR No.008418
Book TitleJain Granthavali
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJain Shwetambar Conference
PublisherJain Shwetambar Conference Mumbai
Publication Year
Total Pages504
LanguageGujarati
ClassificationBook_Gujarati & Catalogue
File Size7 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy