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________________ विगत उत्तरासावेन विदारिता रिपोडियमति उत्पाटितहृदया पाश्वासेष्यक्रमांसा पाटाणा प्रत्ययः तपसचिवगति तवरमा वपुष्याविमत्ति उत्पाटितद्वपचा पण्डिता वागधिमसारमति काबोमांसानि तद्देवोतम सखानि तानि किसका उच्छिन्नका निम्मच्छिमका सोच्छिन्नका मुखच्छिन्नमा मज्झच्छिन्नका षेकच्छ च्छिन्नका ि पाडिया मययुपायिगा दससुपाडिया व सुपाडियगा गेवकिमया ततखिका कागणिमसक्याइयया लालमिया सिया घोलिया फाडिया पीलिया लाइभया मूलमिखका क्खारवत्तिया वभा सौगं मस्तकवेडन या बाप्पा मोमबेमोहोबा पोहर नायजेहना बाबाप्यार होठोहना के पाकाप्पावर बरच उत्तरास गनइन्धारविदास पोच पूजेहन मानवहिनी को दो बापोकर मदरतुदेवेनইकाठ EC परोरपि पडि दमनतिप्रतियस्तु जपावे कासवान पोमांसकाटरपोल न नवनमेवखायांकारना प्याडमा उपचड पारियोमजपाच्या काव्यामेत्रमा प्रोबोटिक चोबारमा बोधोজ(जेचना चलना नातिसूक्ष्म साबराव्या सर्वविधा राखडীबांधीत माजिता या पंविया वचनीमा सारंग हामरवाध्या असियमा कठोर पाचच चंदनगोपमा चोबियमा दहोनाघडाभीपर विलोमा फालिमयाकुठाराविकफाच्या पोखिममा बेलडोमोपरपोला सूबोजना सोबण्डाकोपोवार यूको मस्त वचपरिनोबोहर बार सोचा वारसवबादिकमाहिषैपब्य गवतिधानोअनाथश्यांचा बेोद्रिनादिक नी
SR No.007378
Book TitleAgam 12 Upang 01 Aupapatik Sutra Shwetambar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRai Dhanpatsinh Bahadur
PublisherRai Dhanpatsinh Bahadur
Publication Year1896
Total Pages466
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari, Agam, Canon, Conduct, & agam_aupapatik
File Size9 MB
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