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________________ परिवार के सभी सदस्य एकत्रित हो गए। नगररक्षक की निराशा का कोई पार नहीं था। उस समय अपने निवास-स्थान पर देवकुमार शान्ति की नींद ले रहा था। ६६. चपल सेना अनेक लोग जिसकी धाक से थरथराते थे, जिसकी शक्ति के आगे चोर, डाकू आदि मुंह में तृण लेकर गाय की तरह शरणागत हो जाते थे, जिसकी व्यवस्था ने सम्पूर्ण नगरी को निर्भय बना डाला था, वह नगररक्षक सिंह अपनी प्रतिज्ञा का पालन नहीं कर सका और स्वयं चोर की चोरी का शिकार हो गया। चोर चार रात तक शान्त रहा और पांचवे दिन नगररक्षक के घर चोरी करने में सफल हो गया। सबसे विचित्र बात तो यह थी कि चोर के विषय में कोई भी अनुमान सही साबित नहीं हो रहा था। घर में रक्षा की पूरी व्यवस्था होने पर भी सिंह ठगा गया, इसलिए उसका खून खौल रहा था। नगररक्षक का मन टूट गया, हृदय घायल हो गया। उसने सोचा, अब मैं राजसभा में कैसे मुंह दिखाऊंगा? चोर को पकड़ने का जो बीड़ा मैंने उठाया था, उसी चोर ने मेरे मुंह पर कालिख पोत दी। महाराजा वीर विक्रमादित्य आगन्तुकों से मेल-मिलाप कर रहे थे। उस समय नगररक्षक सिंह ने कक्ष में प्रवेश किया। वीर विक्रम नगररक्षक के चेहरे को देखकर समझ गए कि चोर अभी तक पकड़ में नहीं आया है। ___ नगररक्षक ने महाराजा को तीन बार नमन कर कहा-'कृपानाथ! क्षमा करें, चोर ने मेरी नाक काट डाली।' 'क्यों? क्या हुआ?' 'कल रात्रि में उस दुष्ट चोर ने मेरे घर में घुसकर चोरी कर डाली। मेरी सारी संचित सम्पत्ति लेकर वह भाग गया।' सिंह ने कहा। 'चोर के कुछ चिह्न मिले?' 'नहीं, महाराज! यही तो आश्चर्य की बात है। हां, एक चिमटा कमरे के कोने में पड़ा दिखाई दिया था और वह किसी संन्यासी का हो ऐसा लगता है।' ___ 'तुम निराश मत हो। एक-न-एक दिन तो वह तुम्हारे जाल में फंसेगा ही। आज तुम्हें राजसभा में आने की आवश्यकता नहीं है। मैंने महामंत्री के साथ मंत्रणा कर दूसरी योजना यह बनाई है कि यदि कोई चोर को पकड़कर हमारे समक्ष उपस्थित करेगा, उसे चालीस गांव की एक तहसील भेंट में दी जाएगी। इस आकर्षण से नगरी का कोई-न-कोई चतुर और निपुण व्यक्ति चोर को पकड़ने में अवश्य सहायभूत होगा।' विक्रम ने कहा। वीर विक्रमादित्य ३५७
SR No.006163
Book TitleVeer Vikramaditya
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMohanlal Chunilal Dhami, Dulahraj Muni
PublisherJain Vishva Bharati
Publication Year2010
Total Pages448
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size10 MB
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