________________ चान्द्रव्याकरणम् [महक --रतू 200] मरूक 2 / 22 / मर्क 2 / 1 / मर्कट 2 / 32 / मर्जू 1147 / मत 2 / 50 / मलूक 2 / 22 / मसूर 3 / 30 / मस्तु 1 // 22 // महत् 377 / महिन 2 / 66 / मांस 3 / 63 / मातरिश्वन् 3 / 8 / मातृ 1150 / माया 21106 / मायु 1 / 1 / मार्जार 3 // 22 // माला 3 // 53 // मितद्रु 1 / 21 / मित्र 3 / 40 / मित्रयु 1 / 21 / मीर 3 / 12 / मीवर 3 / 16 / मुचीर 316 / मुण्ड 2140 / मुद्ग 2 / 26 / मुद्रा 38 / मुनि 1154 / मुष्क 2 / 4 / मुहिर 3 / 6 / मूत्र 3 / 37 / मूर्ख 2 / 24 / मूर्धन् 380 / मूषिक 2 / / मृगयु 1 / 21 / मृडीक 2 // 16 // मृत्यु 1136 / मृदु 1 / 13 / मृद्वीका 2 // 16 // मेरु 1 // 36 // यक्ष्म 2 / 100 / यजुस् 3 / 12 / यमत 2 / 48 / यमुना 2 / 80 / ययी 1160 / यवस 365 / यवागू 1141 / . यशस् 33103 / यातु // 25 // याम 2 / 100 / युग्म 2 / 105 // युध्म 2 / 103 / . युवन् 376 / यूका 2 / 2 / यूथ 2 // 56 // यूप 2 / 04 / योनि 176 / योषित् 3 / 76 / रजत 2 / 46 / रजन 2066 / रजनी 2166 / रजस् 3 / 101 / रज्जु 1 / 16 / रण्डा 2 / 36 / रतू 1147 /