________________
का बालब्रह्मचारी श्री नेमीनाथाय नमः बीजना चैत्यवन्दनो
[१]
बीज रोझ करी सींचिओ, प्रथम तिथिमां ओह, चन्द्रकला उदये वधे, तेम पुण्योदय रेह...१... अभिनन्दन सुमति प्रभु, दशमां शीतलनाथ, वासुपूज्य अरनाथजी, मुगतिपुरीनां नाथ...२... इत्यादिक जिनवर तणां, जनम नाण निर्वाण, बीज तणे दिन वंदतां, पामो कोड कल्याण...३... दुविह धर्म ने सेविओ, निश्चय ने व्यवहार, आगम नोआगम तणो, भावो तत्त्व विचार... ४... बीजे ठाण वर्णव्या, दोय दोय जे भेद, बीज तणे दिन मुनिवरा, ध्याता ध्यान दुभेद... ५... अंग उपांगे वर्णव्या, जीव अजोव पुण्य पाप, बंध मोक्ष दुग श्रेणिओ, भव्य अभव्यनी छाप...६... बहु श्रुत चरण कमल नमी, संशय करिओ दूर, गौतम प्रश्नोत्तर करे, श्री शुभ वीर हजूर... ७... [२] दुविध धर्म जिणे उपदिश्यो, चोथा अभिनन्दन, बोजे जनम्या ते प्रभु, भवदुःख निकंदन... १... दुविध ध्यान तुमे परिहरो, आदरो दीय ध्यान,
एम प्रकाश्यु सुमति जिने, ते चविया बीज दिन...२... दोय बंधन राग-द्वेष, तेह ने भवि तजिओ,
मूज पर शीतल जिन कहे, बीज दिन शिव भजिओ...३...
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org