________________
१११२
जैन श्वेताम्बर गच्छों का संक्षिप्त इतिहास उक्त अभिलेखीय साक्ष्यों के आधार पर इस गच्छ के मुनिजनों के गुरु-परम्परा की छोटी-छोटी कुछ तालिकायें निर्मित की जा सकती हैं, जो इस प्रकार हैं: तालिका-२
वीरसूरि (वि० सं० १२१३) मुनिचन्द्रसूरि (वि० सं० १२९०)
वीरसूरि (वि० सं० १३०५-१३३०) मुनिचन्द्रसूरि (वि० सं० १३४७-१३७०) वीरसूरि (वि० सं० १३५९-१३८९)
मुनिचन्द्रसूरि
वीरसूरि मुनिचन्द्रसूरि
वीरसूरि
(वि० सं० १४३३-१४५८) (वि० सं० १४६६-१४८३) (वि० सं० १४८३-१५१३) (वि० सं० १५१६-१५३६)
(मुनिचन्द्र) वीरसूरि
(वि० सं० १५६८)
तालिका-३
मदनप्रभसूरि
(वि० सं० १३२७)
भद्रेश्वरसूरि
(वि० सं० १३७०)
विजयसेनसूरि
(वि० सं० १३७५-१३८०)
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org