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क्रमांक संवत् तिथि/
मिति
४९. १७९०
५०.
५१.
१७९१
१७९२
माघ
सुदि ...?
ग्रन्थ का
नाम
पौष
वदि २ शनिवार
भाद्रपद जिनधर्मवर
वदि ८
स्तव
सोमवार
नैषधमहाकाव्य प्रतिलेखन
प्रशस्ति
मूल प्रशस्ति
प्रतिलेखन
प्रशस्ति
कल्पसूत्र
अन्तरवाच्य
मूलप्रशस्ति
""
प्रशस्तिगत प्रतिलिपि - संदर्भ ग्रन्थ
आचार्य/
कार
मुनि का नाम
महिमाप्रभसूरि के
पट्टधर
भावप्रभसूरि
भावप्रभसूरि एवं उनके
भावप्रभसूरि वही,
क्रमांक ४७७९,
पृ० २७८-७९
मुनिलाल वही,
क्रमांक १५११,
| पृ० ९६
गुरुभ्राता
मुनिलाल
भावप्रभसूरि भावप्रभसूरि वही,
एवं उनके
शिष्य भावरत्न
क्रमांक ६६२,
पृ० ५४
९८४
जैन श्वेताम्बर गच्छों का संक्षिप्त इतिहास