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बाल वैरागी तरुण कुमार जैन बाल वैरागी तरुणकुमार प्रवर्तक गुरुदेव भण्डारी श्री पद्मचन्द्रजी म. एवं उप प्रवर्तक गुरुदेव श्री अमर मुनिजी म. की सेवा में रहकर श्री सुयश मुनि “विद्यार्थी" के सान्निध्य में शास्त्र तथा प्राकृत, संस्कृत, अंग्रेजी आदि का अध्ययन करते हैं। धर्माराधना भी करते रहते हैं। आप श्री विजयकुमार जैन, श्रीमती कान्ता जैन, फतेहाबाद के सुपुत्र हैं। श्री सूरज प्रकाशजी जैन
श्री ललित जैन (विवेक विहार, दिल्ली)
सुपुत्र : श्री चमनलालजी जैन (जैन नगर, मेरठ) आप गुरुदेवश्री के परमभक्त श्रावक हैं। दान-सेवा आपने भी शास्त्र प्रकाशन कार्य में उदारता पूर्वक आदि कार्यों में दिल खोलकर सहयोग करते हैं। आपने
सहयोग किया है। शास्त्र प्रकाशन में सहयोग प्रदान किया है।
गुरुदेवश्री के परम भक्त हैं आप।
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