________________
श्री श्वेतांबर जैन तीर्थ दर्शन : भाग-१ 8000
झूले.
झूले.
झूले.
झूले.
राग - (आवो-आवो हे वीर स्वामी) झूले-झूले हे भविजन प्यारा । वीर प्रभु पारणामांय, वीरप्रभु पारणामांय प्यारा । वीरप्रभु पारणामांय, चैतर सुदी तेरस मध्य रमणी, प्रभु जन्म्या सुख दाय, छप्पन दिक्कुमारी हुलरावे, प्रभुना गुण गीत गाय, मेरु पर प्रभु जन्म ओच्छव करी, इन्द्रो नंदीश्वरे जाय, अट्ठाई महोत्सव यात्रा करीने, सौ स्वर्गे सिधाय, राजा सिद्धार्थ महोत्सव करीने, नाम वर्धमान थपाय, रत्न जडित कंचन पारणा मां, वीरजी नित्य पोढ़ाय, त्रिशला माता हरखे झुलावे, चांदीनी डोरी खेंचाय, घुघरी घमके घम घम पभुजी, हरखे अति हर्ष दाय, इन्द्र इन्द्राणी चामर ढाले, प्रभु देखी हरषाय, चन्द्र सूरज प्रभु दर्शन करवा, रोज रोज फेरा खाय, मस्तके मुकुट मोतीनी माला, प्रभु कंठे सोहाय, कुंडल काने केडे कंदोरो, कल्लीओ कांडे दीपाय, वीरप्रभुने हरखे झुलावी, संघ सकल हरषाय, भक्तिभाव थी प्रभुजे झुलावे, तस घर मंगल थाय, हजार बेने पाँचनी साले, श्रावण अमास कहेवाय, गुरु कर्पूर सूरि अमृत गावे, वीर पारणुं शिवदाय।
झूले
झूले.
शेठ मोतीशाह
४. तारापुर
मूलनायकजी - श्री भीड़भंजन पार्श्वनाथजी ४०० वर्ष पहले का मंदिर है। स्तवनों में उल्लेख है। इस मंदिर का जीर्णोद्धार हुआ है। विहार मार्ग है। खंभात अहमदाबाद-वडोदरा बगोदस हाईवे ऊपर है।
KALED શિ પરા વિતા Edolti
3030838
मूलनायक श्री भीड़भंजन पार्श्वनाथजी