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सप्ततिका-प्ररूपणा अधिकार : परिशिष्ट २०
परिशिष्ट २० : दिगम्बर सप्ततिकानुसार गुणस्थानों में
___ गोत्रकर्म के बंधादिस्थानों के भंग
बंधस्थान
उदयस्थान
सत्तास्थान
गुणस्थान
नीचगोत्र
नीचगोत्र
पहला
नीचगोत्र नी.गो. उ.गो.
पहला, दूसरा
उच्चगोत्र
उच्चगोत्र
नीचगोत्र
पहले से पांचवें तक पहले से दसवें तक
उच्चगोत्र
:
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११, १२, १३, तथा १४ का उ.स.
X
उच्चगोत्र
| १४ का अन्तिम समय
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