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विनय
सच बोलें, सच बात विचारें,
भले काम कर जन्म सँवारें । रक्खें देश जाति का मान,
ऐसी मति होवे भगवान ।
बीते
झगड़ों को विसरावें, आगे के हित नेह बढ़ावें ।
करें बढ़े सन्मान, ऐसी मति होवे भगवान !
एका
भारत-वासी सब मिल जावें,
गिरे हुओं को तुरंत उठावे । भूलें कभी न अपनी आन,
ऐसी मति होवे भगवान !
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